आवेदक को दिलवाई गई दुर्घटनाग्रस्त वाहन की बीमा धनराशि 6,71,920 रुपये

1 min read

देहरादून/नैनीताल। स्थायी लोक अदालत, नैनीताल में प्रस्तुत प्रार्थनापत्र, प्रार्थी कदीर अहमद द्वारा विपक्षी बीमा कम्पनी के विरूद्ध इस आशय का प्रस्तुत किया गया है कि प्रार्थी का वाहन 29 फरवरी 2020 को जोे की मुरादाबाद से हल्द्वानी की ओर आते वक्त थाना भोजपुर जिला मुरादाबाद राणा शुगर मिल अन्तर्गत दुर्घटनाग्रस्त होकर पूर्णतय क्षतिग्रस्त हो गया था जिसका बीमा विपक्षी नेशनल इंश्योरेंस कम्पनी लि० द्वारा किया गया था, प्रार्थी द्वारा विपक्षी बीमा कम्पनी को दुर्घटना की सूचना दी गई एवं बीमा कम्पनी के निर्देशानुसार क्षतिग्रस्त वाहन को वर्कशॅाप पहुंचा दिया गया जहां बीमा कम्पनी के सर्वेयर द्वारा वाहन का सर्वे किया गया। प्रार्थी द्वारा बीमा कम्पनी के क्लेम सम्बन्धी सभी औपचारिकता पूर्ण की गई तथा समस्त कागज सर्वेयर को दे दिए गये, परन्तु बीमा कम्पनी द्वारा क्लेम का भुगतान नहीं किया गया। अतः प्रार्थी द्वारा विपक्षी से बीमित वाहन की आई0डी0वी कीमत 6,71,920 रूपये धनराशि एंव मानसिक आघात के लिए 20,000 रूपये का प्रार्थनापत्र योजित किया गया।
अध्यक्ष, स्थायी लोक अदालत, नैनीताल सुबीर कुमार एवं सदस्यगण अकरम परवेज और दर्शन सिंह की उपस्थिति में मामले का निस्तारण पक्षकारों द्वारा प्रस्तुत दस्तावेजों एवं सक्ष्यों के आधार पर किया गया तथा विपक्षी को आदेशित किया गया कि प्रार्थी कदीर अहमद को अपने बीमीत वाहन के लिए 6,71,920 रुपये मय 6 प्रतिशत वार्षिक साधारण ब्याज सहित दिनांक 29.02.2020 से वास्तविक भुगतान की तिथि तक तथा मानसिक आघात के लिए 5,000ध्रूपये एवं वाद व्यय 2,000 रूपये एक माह के भीतर भुगतान करना सुनिश्चित करें।
स्थायी लोक अदालत में लोग जन उपयोगी सेवाएं से सम्बन्धित अपनी जन उपयोगी शिकायत जैसे बीमा सेवा, दूरसंचार विद्युत, अस्पताल सेवा, जल सेवा, लोक सफाई, भू-सम्पदा, परिवहन सेवा, वित्तीय व बैंकिंग आदि जन उपयोगी सेवाओं से सम्बंधित मामले स्थायी लोक अदालत, नैनीताल में पेश कर सकते है। लोग अपनी जनउपयोगी सेवाओं की शिकायतांे का निवारण जल्दी व निःशुल्क करा सकते है। विधिनुसार स्थायी लोक अदालत का प्रयास आवेदनपत्र, प्रार्थनापत्र में वर्णित विवादित बिन्दुओं को सुलह एवं समझौते के अनुसार निस्तारण का रहेगा, जिसमें आवेदक, प्रार्थी, शिकायतकर्ता एवं विपक्षी, उत्तरदाता का सक्रिय सहयोग आवश्यक हैं। सुलह एवं समझौता न होने की दशा में वाद का निस्तारण साक्ष्य लेकर, गुण-दोष पर किया जायेगा।

Copyright Him Path©2023 (Designed & Develope by manish Naithani 9084358715) All rights reserved. | Newsphere by AF themes.